एक शाम जो तुम्हारे बिना गुजरी थी,खामोशी ओर
हर तरफ बस तुम्हारी ही कमी थी।कितने अजीब
ख्यालात थे उस रोज,जब तुमने मुझे तुम्हारे बिना
रहने के लिए कहा था,कुछ अल्फाज उमड अाये थे
"कभी कभी यूँ लगता है,मेरी खामोशी तुम्हें...
कभी कभी

Your Feelings in my words. We both together makes it complete.